Lok Sabha में नेता प्रतिपक्ष Rahul Gandhi ने एक बार फिर आरोप लगाया है कि उन्हें सदन में बोलने नहीं दिया जा रहा। गुरुवार को संसद जाते समय उन्होंने सवाल उठाया, “मुझे कभी बोलने नहीं दिया जाता। आखिर वे डरते किससे हैं?” उनके इस बयान ने राजनीतिक हलचल बढ़ा दी है।
Rahul Gandhi ने इससे पहले बुधवार को भी यही आरोप लगाया था कि Lok Sabha में उन्हें अपनी बात रखने का मौका नहीं दिया गया। उन्होंने कहा, “यह कोई तरीका नहीं है सदन चलाने का। जब भी मैं खड़ा होता हूं, मुझे रोक दिया जाता है। Lok Sabha अध्यक्ष ने मेरे खिलाफ एक substantiated टिप्पणी की और जब मैंने बोलने की अनुमति मांगी, तो उन्होंने सदन स्थगित कर दिया।”
Rahul Gandhi ने कहा कि लोकतंत्र में सरकार और विपक्ष दोनों की भूमिका होती है, लेकिन यहां विपक्ष को दबाया जा रहा है। उन्होंने दावा किया कि वे केवल Mahakumbh मेले और बेरोजगारी पर बोलना चाहते थे, लेकिन उन्हें मौका नहीं दिया गया। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री ने Mahakumbh पर बात की, मैं भी इसकी सराहना करना चाहता था। मैं बेरोजगारी पर भी बोलना चाहता था, लेकिन मेरी आवाज दबा दी गई।”
Rahul Gandhi के इन आरोपों के बाद विपक्षी दलों ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। Shiv Sena (UBT) Priyanka Chaturvedi, Member of Parliament ने इसे “दुर्भाग्यपूर्ण” बताया और कहा कि बीजेपी जब भी सदन को चलने नहीं देना चाहती, तो इसी तरह के बहाने ढूंढती है। उन्होंने कहा, “राहुल गांधी नेता प्रतिपक्ष हैं, उन्हें जवाब देने का अधिकार है। लेकिन सरकार विपक्ष को चुप कराने की रणनीति पर काम कर रही है।”
इस मुद्दे पर Shiv Sena (UBT) के ही सांसद संजय राउत ने भी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा, “अगर Lok Sabha में नेता प्रतिपक्ष को ही बोलने से रोका जा रहा है, तो यह लोकतंत्र के लिए खतरे की घंटी है। फिर संसद चलाने का मतलब ही क्या रह जाता है?”
Rahul Gandhi के इस बयान के बाद संसद में माहौल और गरमा सकता है। विपक्ष इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाने की तैयारी में है। अब देखना होगा कि सरकार इस पर क्या जवाब देती है और क्या Rahul Gandhi को सदन में अपनी बात रखने का मौका मिलेगा या नहीं।