राजस्थान की अंता विधानसभा सीट से पूर्व बीजेपी विधायक कंवरलाल मीणा ने राज्यपाल हरिभाऊ बागडे के सामने सजा माफी की अर्जी दाखिल की है। मीणा पर करीब 20 साल पुराना मामला है, जिसमें उन्होंने एसडीएम पर पिस्टल तानने का आरोप है। कोर्ट ने उन्हें इस मामले में 3 साल की सजा सुनाई थी, जिसके कारण उनकी विधानसभा सदस्यता रद्द कर दी गई थी।
अगर राज्यपाल उनकी सजा को माफ कर देते हैं या दो साल से कम कर देते हैं, तो मीणा की सदस्यता कानूनी रूप से बहाल हो सकती है। उन्होंने हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट से राहत नहीं मिलने के बाद अब यह कदम उठाया है।
विपक्ष ने सजा माफी की अर्जी को लोकतंत्र के लिए खतरा बताते हुए कड़ी आलोचना की है। कांग्रेस नेता टीकाराम जूली ने कहा कि बीजेपी दोषी विधायक को बचाने और फिर से सत्ता में लाने की साजिश कर रही है, जो संविधान और कानून के खिलाफ है।
बीजेपी की ओर से अभी इस मामले पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन राजनीतिक गलियारों में कंवरलाल मीणा को फिर से सक्रिय राजनीति में लाने की चर्चा तेज है।
अब यह मामला राज्यपाल के पास है और आने वाले दिनों में इसका फैसला राजस्थान की राजनीति में महत्वपूर्ण प्रभाव डाल सकता है।